झारखंड के एक लाख लोगों को मिलेगा रोजगार, जल्द शुरू होंगे पांच कोल ब्लॉक, राज्य सरकार का भी बढ़ेगा राजस्व !

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सार
झारखंड में इस साल के अंत तक 5 कोल ब्लॉक शुरू हो जाएगा. इससे कम कम से 1 लोगों को रोजगार मिलेगा. साथ ही साथ सरकार के राजस्व में भारी इजाफा होगा. वहीं केंद्र सरकार ने समीक्षा बैठक में भी कोल ब्लॉक को ऑपरेशनल करने में राज्य सरकार से मदद की अपील की है

Jharkhand Job Update : इस साल आधा दर्जन कोल ब्लॉक में खनन शुरू हो जाने की उम्मीद है. इनसे प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष तौर पर एक से सवा लाख लोगों को रोजगार मिल सकेगा. देश के पावर प्लांट्स और कोल बेस्ड इंडस्ट्रीज के लिए कोयले की बढ़ती डिमांड को पूरा करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों की साझा पहल के तहत इस दिशा में तेजी से कदम बढ़ाये जा रहे हैं.

केंद्र सरकार के कोयला मंत्रालय ने बीते सोमवार को दिल्ली में आयोजित एक उच्चस्तरीय बैठक में झारखंड स्थित 20 नॉन ऑपरेशनल कैप्टिव और कॉमर्शियल कोल ब्लॉक के स्टेटस की समीक्षा की. इस बात पर सहमति बनी कि जिन कोल ब्लॉक्स के लिए भूमि अधिग्रहण, इन्फ्रास्ट्रक्चर, रोड कनेक्टिविटी, ट्रांसपोर्टेशन आदि की तैयारियां पूरी हो चुकी हैं, वहां जल्द से जल्द प्रोडक्शन के लिए ऑपरेशंस शुरू किये जाएं. इस दौरान माइन्स, वन-पर्यावरण, प्रदूषण नियंत्रण संबंधी सभी तरह के क्लीयरेंस के लिए डेडलाइन तय की गयी. बैठक में वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के टॉप ऑफिसर्स, झारखंड के प्रधान मुख्य वन संरक्षक, खनन एवं भूतत्व निदेशक और कोल ब्लॉक लेने वाली कंपनियों के प्रतिनिधि भी उपस्थित रहे.

क्या है स्थिति
हजारीबाग जिला स्थित जेएसडब्ल्यू के मोइत्रा कोल ब्लॉक के लीज की प्रक्रिया अंतिम चरण में है. अरण्या स्टील को डालटनगंज में आवंटित लोहारी कोल ब्लॉक में भी लीज करने की प्रक्रिया अंतिम चरण में चल रही है. कैबिनेट के लिए प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है. एनटीपीसी के केरेडारी (द) में भी सारे क्लीयरेंस ले लिये गये हैं या कुछ के अंतिम चरण में हैं. डीवीसी के तुबेद कोल ब्लॉक की भी यही स्थिति है. पाकुड़ जिले में पचुवार सेंट्रल कोल ब्लॉक का आवंटन पंजाब इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड को किया गया है. इसकी प्रक्रिया भी अंतिम चरण में हैं.

एक लाख को मिलेगा रोजगार का मौका
खनन विशेषज्ञ की मानें, तो एक खदान के चालू होने से औसतन 20 हजार लोगों को प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार के अवसर मिलते हैं. इनमें डंफर चालक, खान मजदूर से लेकर आसपास खुलनेवाले होटल व दुकान आदि भी शामिल हैं. इस प्रकार यदि पांच कोल ब्लॉक चालू होते हैं, तो एक लाख लोगों को प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार के अवसर मिलेंगे.

जेएसडब्ल्यू का मोइत्राअरण्या स्टील का लोहारी

एनटीपीसी का केरेनडारी (केरेडारी) डीवीसी का तुबेद

पंजाब इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड का पचुवारा सेंट्रल कोल ब्लॉक

2000 करोड़ राजस्व का होगा इजाफा
राज्य सरकार को अभी खदानों से आठ हजार करोड़ रुपये राजस्व प्रतिवर्ष मिलता है. एक कोल ब्लॉक से लगभग 300 से 400 करोड़ रुपये राजस्व की प्राप्ति होती है. यानी पांच कोल ब्लॉक से दो हजार करोड़ रुपये सालाना राजस्व की प्राप्ति होगी. यह राजस्व अगले 30 वर्षों तक मिलती रहेगी.

सरकार चाहती है कि जल्द से जल्द लंबित कोल ब्लॉक चालू हों. इसके चालू होने में अा रही बाधा को लेकर लगातार मॉनिटरिंग की जा रही है. विधि सम्मत तरीके से खदान चालू हो, इसी ध्येय से खान विभाग काम कर रहा है.

अमित कुमार, निदेशक खान

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